फरियादी स्वयं ने गढ़ी झूठी कहानी जुऐ में हारा था 30000/- रुपये
मोहनगढ़। पिछले दिनो 20 दिसम्बर को थाना मोहनगढ़ में, ग्राम कौड़िया के साहिल चतुर्वेदी, जब दिगौड़ा ए.टी.एम से 30000/- रुपये निकाल कर वापस अपने घर आ रहा था, तब दो मोटर साईकल पर सवार चार अज्ञात व्यक्तियो ने टिड़कू भसुआ पोरा के पास बंदूक की बट एवं लाठी से मारपीट कर रुपयो की लूट करने की सूचना पर से धारा 394 भादवि के अंतर्गत अज्ञात व्यक्तियो के विरुद्ध अपराध पंजीबद्ध किया गया था । दिन दहाड़े हुई लूट की यह वारदात मीडिया, सोशल मीडिया ,न्यूज पेपर पर काफी समय तक सुर्खियो में रही । मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस अधीक्षक अनुराग सुजानिया एवं एस.डी.ओ.पी प्रदीप सिंह राणावत द्वारा थाना प्रभारी मोहनगढ़ निरी नरेन्द्र वर्मा को विशेष दिशा निर्देश दिये गये थे ।
इसी अनुक्रम में थाना प्रभारी मोहनगढ़ द्वारा जब साहिल चतुर्वेदी से घटना के सम्बंध में विस्तृत पूंछतांछ की गई तो प्रथम बार में ही घायल पीड़ित साहिल चतुर्वेदी की Body language और उसे आई चोटो को देखकर, ऐसा प्रतीत हो रहा था कि कहीं ना कही साहिल चतुर्वेदी द्वारा कुछ तथ्यो को पुलिस से छिपाया जा रहा है । इस दिशा में जब थाना प्रभारी मोहनगढ़ द्वारा अपनी टीम के साथ मिलकर जब साहिल चतुर्वेदी के बारे में उसके गांव और आस-पास के लोगो से पूंछतांछ की तो पता चला की साहिल चतुर्वेदी को जुआ खेलने की आदत है और यह जुऐ में सारे पैसे हार गया है । साहिल चतुर्वेदी की बात कितनी सत्य है इसे जानने के लिए जब उसके बैंक खाता की डीटेल और जिस ए.टी.एम से साहिल पैसे निकालने की बात कर रहा था उस दिन का सी.सी.टी.वी फुटेज निकलवाया गया । जिसमें पुलिस के सामने बड़ी ही अश्चर्यजनक बात सामने आई कि लूट होने के कुछ दिन पहले 9 दिसम्बर को साहिल के खाते में पांच-पांच हजार करके कुल 30000/- रुपये जमा हुए है जिन्हे साहिल ने अपने खाते से 09 तारीख को 10000/- और 11 तारीख को 20000/- करके निकाला है । और 14 तारीख को फिर से 10 हजार रुपये जमा हुए जिन्हे साहिल ने 19 तारीख को ही निकाल लिया था । जिस दिन 20 तारीख को साहिल द्वारा ए.टी.एम से 30000/- रुपये निकालने की बात कही जा रही है उस दिन उसके द्वारा कोई रुपये ए.टी.एम से नही निकाले गये और उस दिन उसके खाते में 141 रुपये मात्र थे । साहिल चतुर्वेदी जो टीकमगढ़ अस्पताल में भर्ती था और फिट होने के बावजूद भी अस्पताल से छुट्टी नही ले रहा था । जब डाक्टर से उसके बारे में पूंछा तो डाक्टर ने बताया कि वह तो पूरी तरह ठीक है । और उसकी एम.एल.सी में भी किसी भी हथियार या लाठी द्वार चोट आना डाक्टर द्वारा लेख नही किया गया था । साहिल चतुर्वेदी को जब थाना पर बुलाकर उसे जब ए.टी.एम के सीसीटीवी कैमरे की फुटेज, उसके बैंक खाते की डिटेल दिखाते हुए सख्ती से पूंछतांछ की गई तो वह टूट गया और उसने सारा सच बताया कि किस तरह उसने अपने साथ जूआ खेलने वाले दोस्त राजू चतुर्वेदी के कहने पर इस झूठी लूट को नाटकीय रुप से अंजाम दिया । साहिल ने बताय की उसके गांव कोड़िया के राजू अहिरवार जो दिल्ली में मजदूरी करता उसे मेरे चाचा के लड़के आलोक चतुर्वेदी के उधारी के पैसे देने थे । जो उसने मेरे खाते में आलोक चतुर्वेदी को देने के लिये दिनांक 09 तारीख को 30000/- रुपये और 14 तारीख को 10000/- रुपये डाले थे । जिन्हे मैं जुऐ में हार गया था । तब मेरे दोस्त राजू चतुर्वेदी ने मुझे कहा कि अगर तुम्हारे माता-पिता को पता चलेगा तो वह तुम पर नाराज होंगे , तुम अपने साथ लूट होने का झूठा नटक करलो । जब साहिल से उसकी चोटो के बारे में पूंछा तो उसने बताया की टिड़कू पोरा के पास में मोटर साईकल से गिर गया था जिससे मुझे यें चोटे आई थी और वहीं से मैने अपने चाचा रामस्वरुप चतुर्वेदी को फोन करके अपने साथ लूट हो जाने की झूठी खबर दी थी ।